Throat Infection
गले में इंफेक्शन बैक्टीरिया और वायरस के संपर्क में आने से होता है। बैक्टीरिया और वायरस से संक्रमित होने के बाद गले में जलन, दर्द, सूजन, बुखार और खांसी जैसी समस्याएं देखने को मिलती है। अगर ये तकलीफें वायरस अटैक (Virus Attack) की वजह से हो रही है तो अपने आप ही ठीक हो जाती है। लेकिन अगर इसका कारण बैक्टीरिया है तो इलाज के लिए एंटीबायोटिक (Antibiotic) दवाइयां दी जाती है। जिनकी प्रतिरक्षा प्रणाली यानी इम्यूनिटी (Immunity ) कमजोर होती है उन्हें गले में इंफेक्शन होने की संभावना ज्यादा होती है। यह समस्या महिलाओं और बच्चों में ज्यादा देखी जाती है। डायबिटीज के मरीजों में गले मे इंफेक्शन की शिकायत अधिक होती है।
गले में इन्फेक्शन के लक्षण
गले में इन्फेक्शन होने पर आप खुद में अनेक लक्षणों को अनुभव करते हैं, जिसकी मदद से आप या आपके डॉक्टर इस बात का अंदाजा लगा सकते हैं कि आपको गले में इन्फेक्शन है।
गले में इन्फेक्शन की स्थिति में रोगी को निम्न लक्षणों का अनुभव हो सकता है –
- गले में दर्द और खराश
- खाने-पीने में तकलीफ होना
- टॉन्सिल में सूजन होना
- भारी और मोटी आवाज होना
- गला सूखना
- जबान और मुंह में दाने निकलना
- ठंड के साथ बुखार आना
- सिर में दर्द होना
- गले में इन्फेक्शन का इलाज
- थ्रोट इंफेक्शन या गले में इन्फेक्शन से छुटकारा पाने के लिए इलाज के साथ-साथ दो बातों का विशेष ध्यान देना होगा जैसे – रात में पर्याप्त नींद लें और आराम करें। पूरा दिन आराम और स्वच्छता कायम करने से रोगी को बहुत मदद मिल सकती है। इसके अतिरिक्त गले में इन्फेक्शन का इलाज दो तरीकों से संभव है –
- गले में इन्फेक्शन का इलाज:
- एंटीबायोटिक: गले में संक्रमण के इलाज के लिए डॉक्टर अक्सर एंटीबायोटिक दवाइयों का सुझाव दे सकते हैं। सामान्यतः डॉक्टर पेनिसिलिन की दवाइयों का सुझाव देते हैं। इस दवा के भी कुछ साइड इफेक्ट है, जिससे बचने के लिए डॉक्टर कुछ अतिरिक्त दवाएं देते हैं।
- टॉन्सिल्लेक्टोमी: यह एक ऑपरेशन है, जिसमें गले के संक्रमण का इलाज संभव हो पाता है। इस सर्जिकल प्रक्रिया में गले की टॉन्सिल को ही निकाल लिया जाता है। फैमिली हिस्ट्री वाले रोगियों को इस प्रकार के ऑपरेशन की आवश्यकता होती है।
- गले में इन्फेक्शन का घरेलू उपचार
- गले में इन्फेक्शन का घरेलू उपचार अलग-अलग लोगों के लिए भिन्न हो सकता है, इसलिए आप निम्नलिखित घरेलू नुस्खों का उपयोग कर सकते हैं –
- गरारे करने से गले के संक्रमण का इलाज किया जा सकता है। गरारे के लिए गुनगुने पानी में नमक और हल्दी मिलाकर प्रयोग करें। गरारे को दिन में दो या तीन बार करें।
- अदरक में मौजूद एंटी-वायरल गुण संक्रमण को कम कर सकते हैं। अदरक का रस निकालकर उसे शहद के साथ लें।
- नींबू में मौजूद विटामिन सी गले के संक्रमण को कम करने में मदद करता है। नींबू के रस को गुनगुने पानी में मिलाकर गरारे करें।
- शहद में एंटी-बैक्टीरियल गुण होते हैं, जो संक्रमण से लड़ने में रोगी की मदद करते हैं। शहद को गुनगुने पानी में मिलाकर पी लें या फिर कुछ समय के लिए इसे गले में दबाएं।
- पुदीने में मौजूद एंटी-वायरल गुण संक्रमण से लड़ने में मदद करते हैं। आप दिन में दो कप पुदीने की चाय का सेवन कर सकते हैं।
- अगर आपको गले में इन्फेक्शन है, तो डॉक्टर से परामर्श के बाद आप ऊपर दिए गए घरेलू नुस्खों का प्रयोग कर सकते हैं, जिससे आपको लाभ मिलेगा।